– 300 बैग लेकर कोई मिटिंग में जाता है क्या?
– ईडी ने उड़ाए माल्या के वकील की दलीलों के परखच्चे
मुंबई (तेज समाचार डेस्क). जब से भगोड़े शराब किंग विजय माल्या के प्रत्यर्पण की गतिविधियां तेज हुई है, तब से माल्या की शायद नींद खराब हो गई है. बुधवार को माल्या के वकील अमित देसाई ने मनी लॉन्ड्रिंग मामले में सुनवाई के दौरान विशेष न्यायाधीश एएस आजमी के समक्ष दलील पेश करते हुए कहा कि माल्या देश छोड़कर भागा नहीं था, जबकि वह मार्च 2016 में जेनेवा स्थित एक बैठक में हिस्सा लेने गया था, जो पहले से तय थी. इस पर ईडी के वकील डीएन सिंह ने सवाल किया कि 300 बैग लेकर विदेश में बैठक करने कौन जाता है?
– प्रत्यर्पण पर अंतिम मुहर बाकी
9000 करोड़ रुपए के बैंकों के कर्ज के मामलों में माल्या सीबीआई और ईडी द्वारा लगाए आरोपों का सामना कर रहा है. माल्या मार्च 2016 में विदेश चला गया था. अभी वह ब्रिटेन में है, जहां की अदालत ने उसके प्रत्यर्पण की मंजूरी दे दी है. अब ब्रिटिश सरकार को इस फैसले पर अपनी मुहर लगाना बाकी है. ईडी ने अदालत से अपील की थी कि माल्या को भगोड़ा आर्थिक अपराधी कानून (एफईओए) के तहत भगोड़ा घोषित किया जाए.
– भगोड़ा घोषित किया जाए
ईडी के वकील सिंह ने कहा- उनके पास (माल्या) ऐसा कुछ नहीं है, जिससे यह साबित होता हो कि माल्या ने देश बैठक में शामिल होने के लिए छोड़ा था. बड़े विमान में 300 बैग के साथ बैठक में शामिल होने कौन जाता है? सिंह ने एक और दावे पर जवाब दिया कि माल्या को भगोड़ा घोषित करने की अर्जी विशेष अदालत में तब लगाई गई, जब उसे वापस लाने की सभी कोशिशें नाकाम हो गईं. तीन नॉन बेलेबल वारंट जारी होने के बावजूद उसने अपने खिलाफ होने वाली जांच में शामिल होने से इनकार कर दिया. प्रत्यर्पण प्रक्रिया इस बात का सबूत है कि वह वापस लौटना नहीं चाहता.
उन्होंने कहा, वह इसलिए लड़ रहा है ताकि उसे भारत ना लाया जाए. वह कह रहा है कि भारत में उस पर लगाए गए आरोप राजनीति से प्रेरित हैं. जहां उसे रखा जाना है, उन जेलों को उसने खराब बताया. कारागार का वीडियो यूके की अदालत को भेजा गया, जिससे कोर्ट संतुष्ट है.
माल्या के वकील देसाई ने एफईओए को क्रूर बताया. इस पर सिंह ने कहा कि यह क्रूर कानून नहीं है. यह केवल एक कानून है, जिसके तहत लगाए गए आरोपों की जांच और सुनवाई का सामना करने के लिए आरोपी को भारत वापस लाया जाता है.
सिंह ने कहा कि माल्या के वकील ने इस सुनवाई के दौरान भारत वापसी को लेकर कुछ भी नहीं कहा. प्रत्यर्पण की मंजूरी मिलने के बावजूद माल्या के वकील यह नहीं बता रहे हैं कि वह कब और कैसे वापस आएगा.